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विभिन्न खाद्दानों में अंतर स्पष्ट करें। विभिन्न प्रकार के अनाजों को मिश्रित करें तथा उनमें से दालों व अनाजों को पृथक करें। मोटे व उत्तम अनाजों को भी अलग करें।

 प्रश्न। 

विभिन्न खाद्दानों में अंतर स्पष्ट करें।  विभिन्न प्रकार के अनाजों को मिश्रित करें तथा उनमें से दालों व अनाजों को पृथक करें। मोटे व उत्तम अनाजों को भी अलग करें। (

( NCERT class 12, अध्याय 5: भूसंसाधन तथा कृषि , भारत लोग और अर्थव्यवस्था)

उत्तर। 

खाद्यान्न, खाद्य सुरक्षा के साथ-साथ भारतीय कृषि अर्थव्यवस्था का एक बहुत ही महत्वपूर्ण हिस्सा है। खाद्यान्नों की संरचना के आधार पर इसे दो प्रकारों में वर्गीकृत किया जाता है-अनाज और दालें।

अनाज:

  • गेहू , चावल, मक्का , ज्वर, बाजरा, रागी , आदि अनाज के उदाहरण हैं।  अनाज को आगे दो प्रकारों में वर्गीकृत किया जाता है-उत्तम अनाज और मोटेअनाज।
  • उत्तम (महीन ) अनाज में चावल और गेहूं प्रमुख हैं जबकि मोटे अनाजमें ज्वार, बाजरा, मक्का और रागी प्रमुख हैं।
  • अनाज का फसल क्षेत्र भारत में कुल फसल क्षेत्र के 54% हैं और भारत दुनिया का कुल अनाज का लगभग 11 प्रतिशत उत्पादन करता है और चीन और यू.एस.ए. के बाद भारत का अनाज उत्पादन में तीसरे स्थान है।

दाल:

  • अनाज के अलावा, दालें भोजन की बहुत महत्वपूर्ण सामग्री हैं क्योंकि ये प्रोटीन के समृद्ध स्रोत हैं। भारत दुनिया में दालों का एक प्रमुख उत्पादक है और भारत में दालों की खेती दक्कन के पठारों, मध्य पठारों और भारत के उत्तर-पश्चिमी हिस्सों की शुष्क भूमि में की जाती है।
  • भारत के कुल फसली क्षेत्रों में से 11% का उपयोग दलहन उगाने के लिए किया जाता है। चना और तूर (अरहर) दलहन भारत में महत्वपूर्ण दलहनी फसलें हैं।

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