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पवन द्वारा निर्मित अपरदनात्मक स्थलरूपों का वर्णन कीजिये।| UPPSC 2020 Geography Optional

 प्रश्न। 

पवन द्वारा निर्मित अपरदनात्मक स्थलरूपों का वर्णन कीजिये। (UPPSC 2020)

शुष्क प्रदेशों में वायु से बनी हुई अपरदित आकृतियों की व्याख्या करें। ( UPPSC 1993)

उत्तर। 

पवन द्वारा निर्मित भू-आकृतियों को वातज (ऐओलियन) भू-आकृति कहते हैं। पवन भू-आकृति कारक आमतौर पर शुष्क और अर्ध-शुष्क वातावरण जैसे रेगिस्तानी क्षेत्रों में अधिक प्रमुख होते हैं जहां बहुत कम वनस्पति आवरण होता है और सतही हवा तेज होती है। हवाएं अपस्फीति( डिफ्लेशन ) (रेत और धूल के कणों को हटाने), घर्षण (चट्टानों पर रेत के कणों का प्रहार), और एट्रिशन (एक दूसरे से टकराने वाले रेत के कण) की क्रिया द्वारा कई अपरदन स्थलाकृति बनाती हैं।

पवन द्वारा उत्पन्न अपरदनात्मक भू-आकृतियाँ निम्नलिखित हैं:

  • मशरूम रॉक
  • अपस्फीति खोखले
  • ज़ुगेन
  • मरूद्वीप
  • इन्सेलबर्ग
  • पेडिप्लेन

पवन द्वारा निर्मित अपरदनात्मक स्थलरूपों

मशरूम या पेडस्टल रॉक:

यदि चट्टान की संरचना इस तरह से है कि चट्टान का निचला हिस्सा ऊपरी हिस्से की तुलना में नरम है; ऐसी चट्टानों में, हवा चट्टान के निचले हिस्से को ऊपरी हिस्से की तुलना में तेजी से अपरदन कर देती है। समय के साथ, चट्टान के अवशेष मशरूम के आकार के दिखते हैं जिसे मशरूम रॉक कहा जाता है।


अपस्फीति खोखले:

जब पवन द्वारा, ठोस भाग को हटाया जाता है तो अपस्फीति (डिफ्लेशन ) के रूप में जाना जाता है। इस प्रक्रिया से जमीन में एक उथला अवसाद( गड्डा ) पैदा हो जाता है जिसे अपस्फीति खोखले के रूप में जाना जाता है।

जब रेत से भरी तेज़ गति की हवाएँ चट्टानों से टकराती हैं तो वे चट्टान की सतह पर छोटे-छोटे गड्ढे या गुहाएँ बनाती हैं। इस प्रक्रिया से बनने वाले भू-आकृतियों को अपस्फीति खोखला कहा जाता है।


ज़ुगेन:

जुगेन टेबल के आकार की अपरदन चट्टान होती है जो पवनो द्वारा निर्मित होता है।


मरूद्वीप(ओएसिस):

जब पवने रेगिस्तान की भूमि को इतनी गहराई तक अपरदन कर देती हैं कि भूजल केशिका क्रिया द्वारा सतह तक पहुँच जाता है। इस प्रकार के भू-आकृतियों को मरूद्वीप(ओएसिस) कहा जाता है। ओएसिस मानव सहित कई जीवित जीवों को उपजाऊ जमीन और पानी प्रदान करता है।


इनसेलबर्ग:

हवा का कटाव रेगिस्तान को मैदान जैसा बना देता है लेकिन कहीं-कहीं ठोस चट्टान का एक छोटा सा पहाड़ होता है। इन पहाड़ों को इनसेलबर्ग कहा जाता है।


पेडिप्लेन्स:

जब पवन मरुस्थलीय क्षेत्रों में उच्च उच्चावच स्थलरूप को कम करके फीचर रहित मैदान में बदल देती हैं, तो इसे पेडिप्लेन के रूप में जाना जाता है।


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